MP में 287 एकड़ अतिरिक्त जमीन लेकर बनेगा ये वर्ल्ड क्लास रेलवे स्टेशन, 12 नए प्लेटफार्म का होगा निर्माण

MP News : पिछले कुछ वर्षों में देश भर के रेलवे स्टेशनों की तस्वीर बदल चुकी है। आने वाले कुछ वर्षों में रेलवे स्टेशनों को वर्ल्ड क्लास सुविधाओं और तकनीकी से लैस कर दिया जाएगा। भोपाल के कमलावती रेलवे स्टेशन के बाद मध्य प्रदेश का यह रेलवे स्टेशन विकसित किया जाएगा। सबसे बड़े वर्ल्ड क्लास रेलवे स्टेशन के लिए अब 287 एकड़ अतिरिक्त जमीन की आवश्यकता पड़ेगी। 

 

Madhya Pradesh : मध्य प्रदेश के इस रेलवे स्टेशन को बड़ी सौगात मिली है। मध्य प्रदेश के जबलपुर में दो बड़े स्टेशन है। इन रेलवे स्टेशनों में मुख्य जबलपुर स्टेशन और उसके बाद मदन महल स्टेशन है। इन दो स्टेशनों के अलावा एक अधारताल स्टेशन भी आता है। इस स्टेशन का अभी तक कोई विकास नहीं किया गया है। 

वर्ल्ड क्लास सुविधा

मध्य प्रदेश के अधारताल स्टेशन में वर्ल्ड क्लास सुविधाओं के अलावा यात्रियों को यहां एयरपोर्ट जैसी फैसिलिटी भी मिलेगी। सरकार की तरफ से रेलवे यात्रियों का खास ख्याल रखा गया है। सरकार की महत्वपूर्ण परियोजना के माध्यम से पश्चिम मध्य रेलवे स्टेशन वर्ल्ड क्लास सुविधाओं और तकनीकी से लैस हो जाएंगे। 

भव्य भवन और जमीन की तलाश शुरू

इस स्टेशन में 12 नए प्लेटफार्म भव्य भवन फुट और फुटओवर ब्रिज से लेकर वाहनों के लिए बड़ी पार्किंग, फोरलेन सडक यातायात सुविधा के लिए बनाई जाएगी। रेलवे विभाग को इस स्टेशन के विस्तारीकरण में 287 एकड़ जमीन की आवश्यकता पड़ेगी। इस स्टेशन के लिए जमीन देखरेख की प्रक्रिया तेजी से शुरू हो गई है। मदनमहल स्टेशन का विस्तार किया गया है। इसमें केवल चार प्लेटफार्म हैं। यही कारण था कि बढ़ते दबाव के कारण जमीन नहीं मिली। इसके बाद अधारताल स्टेशन को फिर से बनाने का प्रस्ताव बनाया गया।

मध्य प्रदेश के अधारताल स्टेशन के नवीनीकरण में करीब 4000 करोड रुपए की लागत आएगी। इस स्टेशन के री डेवलपमेंट का प्रस्ताव रेलवे बोर्ड को भेज दिया गया है। इस लागत राशि में जमीन अधिग्रहण की राशि भी साथ जुड़ी हुई है।  इस स्टेशन के रीडिवेलपमेंट के लिए जमीन की तलाश शुरू कर दी गई है। इस स्टेशन के पुण्य निर्माण और जमीन का मुआवजा संबंधी रेलवे जबलपुर रेलवे मंडल 4:30 हजार करोड़ का भुगतान करेगा।

तकनीक का भी इस्तेमाल 

अगर सब कुछ अंतिम समय तक सही रहा। बता दे की 45 से 50 साल की परिस्थितियों को देखते हुए अधारताल स्टेशन बनाया जाएगा। स्टेशन की मरम्मत के बाद बढ़ती ट्रेनों और यात्रियों का दबाव भी संभव है। इन स्टेशनों में पचास वर्ष की आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए सभी सुविधाओं और तकनीक का भी इस्तेमाल किया जाएगा। इसलिए जबलपुर मंडल पूरी तरह से आशा करता है कि प्रस्ताव पारित होगा। महाकौशल भी इससे फायदा उठाएंगे, न सिर्फ जबलपुर।