उत्तर प्रदेश में इस शहर की सड़कें बनेंगी स्मार्ट, गजब होगी रोड की विशेषता

UP News : उत्तर प्रदेश में सड़कों को चकाचक बनाने व नवीनीकरण को लेकर सरकार लगातार प्रयासरत है। सड़कों का चौड़ीकरण और स्मार्ट रोड के तौर पर प्रदेश में विकसित करने के लिए प्रस्ताव तैयार किया जा रहा हैं। 

 

UP Smart Road : उत्तर प्रदेश के गोरखपुर जिले में चार और मुख्य सड़कों को स्मार्ट रोड के तौर पर विकसित किया जाएगा। इन्हें सड़कों के निर्माण के लिए टेंडर भी निकल जा चुके हैं। लोकसभा चुनाव के चलते इसके कार्य प्रणाली में बाधा आई थी। इन सड़कों का निर्माण मुख्यमंत्री ग्रीन रोड इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट स्कीम के तहत किया जा रहा है।

इन सड़कों का होगा निर्माण 

फिलहाल, निगम द्वारा प्रस्तावित सड़कों में नार्मल मोड़ से नार्मल पुलिस चौकी, पांडेयहाता से हर्वर्ट बांध तक, शास्त्री चौक से आंबेडकर चौक तक, छात्रसंघ चौक से अप्सरा तिराहा तक, हरिओम नगर से कचहरी चौक तक, रेलवे स्टेशन चौक से कौआबाग तिराहा तक, और यातायात चौक से रेलवे स्टेशन चौक तक। 

राप्तीनगर वार्ड में शाहपुर की तीन सड़कों को योजना के तहत चुना गया है। इसे बनाने के लिए टेंडर भी निकाला गया है। पिछले साल, निगम ने इन तीनों सड़कों के लिए पहले 62 करोड़ रुपये और फिर संशोधन के बाद 44.88 करोड़ रुपये का प्रस्ताव शासन को भेजा था, जो मंजूर हो गया था।

लागत राशि  

योजना में शामिल सड़कों का निर्माण करने के लिए 8.01 करोड़ रुपये खर्च होंगे; शाहपुर थाना से रिद्धि अस्पताल तक 510 मीटर लंबी और 24 मीटर चौड़ी सड़क; मेडिकल कालेज रोड दूरदर्शन आवास से ब्रदर्श बेकरी तक 471 मीटर लंबी और 18 मीटर चौड़ी सड़क; और राजीव नगर कुंआ से राप्तीनगर विद्युत कार्यालय तक 1417 मीटर लंबी और 18 मीटर चौड़ी तीनों सड़कें एक दूसरे से जुड़ी हुई हैं। बिजली के तार और पोल ट्रांसफार्मर शिफ्टिंग का मूल्य 12.77 करोड़ रुपये होगा। मुख्यमंत्री नगर सृजन में विद्युत कार्यों के लिए विद्युत निगम को 12.18 करोड़ रुपये मिलेंगे।

बेंगलुरु और चेन्नई की तर्ज पर होगी तैयार 

शहर के सभी स्मार्ट रोड बेंगलुरु और चेन्नई की तरह बनाए जाएंगे। रोड के दोनों ओर साइकिल चलाने वालों और पैदल चलने वालों के लिए छह इंच ऊंचा फुटपाथ बनाया जाएगा. इसके नीचे बिजली के तारों के लिए तार, पीने के पानी और गैस की पाइपलाइन बिछाई जाएगी। मोटरसाइकिल, कार और अन्य वाहन सड़क पर चलेंगे।

सुविधाजनक होगी सड़क 

इसका सबसे बड़ा लाभ यह है कि बिजली, नाली या पीने के पानी की कोई खराबी होने पर सड़क नहीं खोदनी पड़ेगी, जिससे यातायात प्रभावित नहीं होगा। उत्पाद बहुत गहरे बनाए जाएंगे। 40 से 50 मीटर की दूरी पर मेनहोल होंगे, जिससे कर्मचारी डक्ट में उतरकर पानी या गैस की लीकेज दुरुस्त कर सकते हैं। शहर की पहली स्मार्ट रोड पर हरियाली को बढ़ाना और दीवारों को म्यूरल से सजाना जाएगा। लोगों को बैठने के लिए फुटपाथ पर ही बेंच लगाए जाएंगे।