NCR के पास यहां बनेगी Reliance Smart City , 8000 एकड़ में विकसित होगा प्रोजेक्ट
Saral Kisan News : देश के प्रसिद्ध उद्योगपति मुकेश अंबानी ने दिल्ली से सटे गुरुग्राम में एक विश्वस्तरीय स्मार्ट सिटी बनाई है। इस स्मार्ट सिटी को मुकेश अंबानी की कंपनी रिलायंस ने बनाया है।
NCR में 8000 एकड़ की बड़ी स्मार्ट सिटी को जल्दी ही देश के सबसे बड़े उद्योगपति बनाने जा रहे हैं। इस शहर को Reliance स्मार्ट शहर कहा जाएगा | आइये इसके बारे में जानें
Saral Kisan News : देश के प्रसिद्ध उद्योगपति मुकेश अंबानी ने दिल्ली से सटे गुरुग्राम में एक विश्वस्तरीय स्मार्ट सिटी बनाई है। इस स्मार्ट सिटी को मुकेश अंबानी की कंपनी रिलायंस ने बनाया है।
मेट सिटी, या मॉडल इकनोमिक टाउनशिप लिमिटेड, इसका नाम है। रिलायंस इंडस्ट्रीज ने कहा कि गुरुग्राम, उसके पूर्ण स्वामित्व वाली इकाई मॉडल इकोनामिक टाउनशिप लिमिटेड, एक अंतरराष्ट्रीय स्तर की स्मार्ट सिटी बनाने में लगी हुई है। कम्पनी का दावा है कि स्मार्ट सिटी एक संयुक्त औद्योगिक शहर होगा।
इसमें जापान की चार बड़ी कंपनियां होंगी। दक्षिण भारत का सबसे तेजी से विकसित शहर रिलायंस का मॉडल इकोनॉमिक टाउनशिप (MET) है। यह भी सबसे तेजी से विकसित इंटीग्रेटेड शहर बन गया है। वर्ष 2022–2023 की बात करें तो यहां 450 से अधिक कंपनियों ने मिलकर काम किया है। यहां आने वाली कंपनियों में सात देशों की बहुराष्ट्रीय कंपनियां शामिल हैं। रिलायंस की MET सिटी ने वर्ष भर में दो पुरस्कार भी जीते हैं।
8000 एकड़ में बनाया गया शहर
रिलायंस की पूरी तरह से सब्सिडयरी वाली इस कंपनी ने हरियाणा के झज् जर जिले में 8 हजार एकड़ की जमीन पर एक वर्ल्ड क्लास ग्रीनफील्ड स्मार्ट सिटी बनाने का अभियान शुरू किया है।
1,900 एकड़ जमीन पर पहले चरण में शहर बनाने का लाइसेंस यहां मिला है। अब तक, कंपनी जमीन में 88,000 करोड़ का निवेश कर चुकी है। उसमें पांच औद्योगिक सेक्टर हैं, जबकि SCO के दो प्रोजेक् ट हैं।25 हजार नौकरियां अभी तक बनाई गई हैं।
मजबूत संबंध
रिलायंस के इस नए शहर में सबसे अच्छी बात है इसकी कनेक्टिविटी। इसमें दिल्ली, गुरुग्राम, नोएडा और आसपास के अन्य शहरों से अच्छी कनेक्टिविटी है।
यह शहर कुंडली मानेसर पलवल (केएमपी) एक्सप्रेसवे और नई दिल्ली के इंदिरा गांधी अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे के पास रणनीतिक रूप से स्थित है। इसका रेल संपर्क दिल्ली मुंबई औद्योगिक कॉरिडोर (DMIC) के डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर (DFC) से होगा।