गाजियाबाद में 65 एकड़ में बनेगा हिंडन बायोडायवर्सिटी पार्क, 14 से ज्यादा सुविधा होगी आकर्षण का केंद्र

Ghaziabad Hindon Biodiversity Park : उत्तर प्रदेश में योगी सरकार ने एक महत्वपूर्ण फैसला लिया है, जिसके अंतर्गत गाजियाबाद जिले में हिंडन बायोडायवर्सिटी पार्क बनाया जाएगा। प्रदेश सरकार ने अमृत-2 कार्यक्रम के तहत महामाया स्टेडियम के पीछे 65 एकड़ में हिंडन बायोडायवर्सिटी पार्क के लिए पहली किश्त 2 करोड़ 57 लाख रुपये की जारी की गई है। इस पार्क का काम शुरू होने के बाद एक साल में बनकर तैयार हो जाएगा।
 

Uttar Pradesh : उत्तर प्रदेश में योगी सरकार ने एक महत्वपूर्ण फैसला लिया है, जिसके अंतर्गत गाजियाबाद जिले में हिंडन बायोडायवर्सिटी पार्क बनाया जाएगा। प्रदेश सरकार ने अमृत-2 कार्यक्रम के तहत महामाया स्टेडियम के पीछे 65 एकड़ में हिंडन बायोडायवर्सिटी पार्क के लिए पहली किश्त 2 करोड़ 57 लाख रुपये की जारी की गई है। इस परियोजना पर कुल खर्च 15 करोड़ 17 लाख रुपये आने वाला है। पहली किश्त मिलने के बाद इस पार्क का काम तेजी से शुरू होने जा रहा है।

इस पार्क में 100 से ज्यादा तरह के फूल, सब्जी और औषधि के पौधे लगाए जाने हैं। इसे पर्यटन स्थल बनाने की योजना बनाई गई है। इसमें फव्वारे और रेस्तरां सहित कई आकर्षण केंद्र होंगे। पहले चरण को 2025 के मध्य तक पूरा करने की योजना बनाई गई है। पार्क बनने के बाद प्राइवेट कंपनियों को दिया जाएगा। लोगों को यहां आने के लिए टिकट खरीदना पड़ेगा। आय से पहले इसका रखरखाव होगा, फिर नगर निगम और संबंधित कंपनी बचे हुए पैसे में हिस्सेदारी करेंगे।

यहाँ क्यों है, पार्क की जरूरत

महामाया स्टेडियम के पीछे अक्सर कूड़े की आग लगा दी जाती थी। इस जगह शहर के कई स्थानों से आकर गंदा पानी इकट्ठा हो जाता है, जो प्रदूषण की सबसे बड़ी वजह बनता है। पास में स्थित साईं उपवन और ईको पार्क भी इससे प्रभावित हों रहे हैं। यही कारण है कि बायोडायवर्सिटी पार्क बनाने का निर्णय लिया गया। यहां जाने के लिए जीटी रोड, मल्टीलेवल पार्किंग और मेट्रो स्टेशन भी उपलब्ध करवाए जाने हैं। न्यू लिंक रोड फ्लाईओवर के नीचे वाहनों की पार्किंग का स्थान बनाया जाएगा।

इस प्रकार बढ़ाई जाएगी, पार्क की सुंदरता

दलदल क्षेत्र पानी रिचार्ज करने में सबसे अधिक योगदान देते हैं। यही कारण है कि यहां तीन अलग-अलग प्रकार के जलाशय बनाए जाने हैं। झील और तालाब भी होंगे, जहां मछली पालन और कमल के फूल खिलेंगे। यहां एक फ्लावर कोर्ट होगा, जो मुगल गार्डन की तरह होगा, और स्काईवाक से पूरे पार्क को देखा जा सकेगा। रैपिड ट्रेन और न्यू लिक रोड से बायोडायवर्सिटी पार्क की सुंदरता देखी जा सकेगी।

इससे होगा, छात्रों को फायदा

बटरफ्लाई गार्डन, फव्वारे, सोलर लाइट, पाथ-वे, साइकल ट्रैक, वाच टावर, नर्सरी, खेल ग्राउंड, फाउंटेन, लोटस पांड, फिश पांड, फारेस्ट रेस्तरां, गार्डन कैफे और रिसर्च सेंटर भी होगा, जहां जैव विविधता से जुड़े शोध किए जाएंगे। यहां पर छात्र वनस्पति विज्ञान को सीख सकेंगे। 40 किलो लीटर प्रतिदिन क्षमता का एसटीपी यहां आवश्यक होगा, जिससे नाले का पानी शोधित कर जलाशयों में भरा जाएगा। इस पार्क का काम शुरू होने के बाद एक साल में बनकर तैयार हो जाएगा।