General Knowledge: ट्रैक्टर के पीछे के टायर क्यू होते हैं बड़े, साधारण वाहनों से क्यों होती अलग बनावट,

खेती के कार्यों को बेहतर ढंग से करने के लिए ट्रैक्टर बहुत ज्यादा महत्वपूर्ण भी है। बता दे की खेत जोतने से लेकर पैदावार लेकर जाने तक सब कुछ इसके माध्यम से होता है।

 

Saral Kisan : खेती के कार्यों को बेहतर ढंग से करने के लिए ट्रैक्टर बहुत ज्यादा महत्वपूर्ण भी है। बता दे की खेत जोतने से लेकर पैदावार लेकर जाने तक सब कुछ इसके माध्यम से होता है। लेकिन आपने ट्रैक्टर की बनावट पर कभी विचार भी किया है? आपने कभी यह सोचा है कि आखिर पीछे के टायर इतने बड़े और दरारी वाले क्यों हैं और आगे के टायर इतने छोटे क्यों हैं? ट्रैक्टर के आगे और पीछे के टायर बराबर आकार के क्यों नहीं होते? हम इस लेख में आपकी इस समस्या को हल करेंगे और ट्रैक्टर की बनावट के बारे में आपको बताएंगे -

पिछले टायर बड़े होने का कारण -

हम अक्सर देखते हैं कि कोई वाहन कीचड़ या गीली चिकनी मिट्टी में फंस जाता है और उसके टायर वहां फिसलने लगते हैं। जबकि इसके विपरीत, ऐसी जगह में आसानी से ट्रैक्टर बाहर निकलता है। इसका कारण घर्षण है। बड़े ट्रैक्टर टायरों की दरारें मिट्टी को अच्छे से पकड़ती हैं। इससे टायर आसानी से निकल जाता है और उसे आवश्यक घर्षण मिलता है। जबकि आम गाड़ी निकलने में मुश्किल होती हैइसके अलावा ट्रैक्टर बहुत सामान ढोता है। ट्रैक्टर में बड़े टायर भी होते हैं ताकि संतुलन बिगड़ न जाए।

पीछे व आगे के टायर का आकार -

ट्रैक्टर के आगे के बड़े टायर इसे घुमाने में मुश्किल बना देंगे। ताकि ट्रैक्टर आसानी से मुड़े, आगे के टायरों को छोटा रखा गया है। साथ ही ट्रैक्टर को संतुलित करना भी एक कारण है। आगे बड़े टायर होते तो ट्रैक्टर चलाना मुश्किल होता। वजनी और बड़े पिछले टायरों के कारण ट्रैक्टर सामान ढोते हुए पीछे नहीं उठता।

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