किसान ने अपनी फसल पर ट्रैक्टर क्यों चलाया? ऐसी क्या मजबूरी हुई 

 

Saral Kisan: किसान ने अपनी फसल पर ट्रैक्टर चलाने का कारण यह था कि पंजाब सरकार ने धान की अगेती फसल को समय से पहले रोकने वाले किसानों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई करने की धमकी दी थी. कृषि विभाग के अधिकारी रविंद्र कुमार ने इसकी घोषणा की थी कि ऐसे किसानों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी. इस परिस्थिति में, किसान सुरेंद्र सिंह ने कृषि विभाग के निर्देशों के अनुसार अपने खुद के खेतों पर ट्रैक्टर चलाकर फसल को नष्ट कर दिया ताकि उन पर कार्रवाई की बचाव की जा सके.

पंजाब में तेजी से घट रहा है भूजल स्तर

पंजाब में विभिन्न जिलों में भूजल स्तर लगातार कम हो रहा है. जैसे कि संगरूर, पटियाला, पठानकोट, मोहाली, मोगा, जालंधर, होशियारपुर, फतेहगढ़ साहिब, बठिंडा, और बरनाला जिलों में भूजल स्तर प्रतिवर्ष 0.49 मीटर से भी नीचे जा रहा है. इन जिलों में भूजल स्तर 150 से 200 मीटर तक नीचे चला गया है. पंजाब में भूजल स्तर गिरता रहने के कारण केंद्रीय भूजल बोर्ड ने चेतावनी दी है कि साल 2039 तक यह 300 मीटर नीचे जा सकता है. भूजल स्तर की गिरावट के कारण खाद्य सुरक्षा को भी खतरा हो सकता है, इसलिए जरूरी है कि पानी का अत्यधिक दोहन रोका जाए.

धान की एक किलो उगाई के लिए 4000 लीटर पानी की आवश्यकता होती है. पंजाब कृषि विश्वविद्यालय के अनुसंधान के अनुसार, धान की फसल को उगाने के लिए 3600 लीटर से 4125 लीटर के बीच पानी की जरूरत पड़ती है. धान की देरी से पकने वाली फसलों को अधिक पानी की आवश्यकता होती है. इसलिए, पंजाब सरकार अब फसलों के विविधीकरण और जल्दी पकने वाली फसलों को प्राथमिकता दे रही है. केंद्र सरकार ने देश की खाद्य सुरक्षा के मद्देनजर पंजाब के किसानों को गेहूं और धान उगाने के लिए प्रोत्साहित किया है, जिससे पानी का अत्यधिक दोहन हो रहा है.

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