मानसून के दौरान किसानों के लिए बेहतर मनाफे वाली सब्जी, मिलेगा अच्छा उत्पादन

Vegetable Crops : भारत में मानसून की हुई एंट्री, मानसून की एंट्री के साथ ही हम लेकर आए हैं किसानों के लिए एक अच्छी खबर, खरीफ की फसल छोड़ किसान करें इस सब्जी की खेती, होगा दोगुना मुनाफा कर देगी मालामाल।

 

Vegetable Farming : भारत देश के किसान परंपरागत खेती को छोड़ें, बढ़ रहे खेती की सब्जी की ओर किस सब्जी की खेती करें कमा रहे खरीफ फसल से दोगुना मुनाफा, खरीफ फसल की  खेती में खर्च अत्यधिक होता है और मुनाफा कम होता है, इसलिए किसान ढूंढ रहे कोई विकल्प फसल की खेती करने का तरीका, उनके लिए यह खबर है खास।

भारत देश में लगभग मानसून एंट्री हो चुकी है, किसानों द्वारा इस समय खरीफ की फसलों की बुवाई काफी की जा रही है, अगर इस मानसून के सीजन में किसान कंदरू सब्जी की खेती कर सकते हैं तो, यह सब्जी की खेती देगी किसानों को अत्यधिक मुनाफा, सब्जी की फसल एक नगदी फसल मानी जाती है, किसान को फसल बेचने पर नगद प्राप्त होता है दाम, कुंदरू की खेती किस की बना देगी चांदी, कंदरू की खेती करने वाला किसान हो जाएगा निहाल कर देगी मालामाल।

कंदरू का पौधा देखने में लौकी की बेल की तरह प्रतीत होता है, कंदरू की बेल के सफेद रंग के फूल लगने के बाद तैयार होता है फल, कंदरू की मांग हमेशा ज्यादा बनी रहती है, किसान बिना किसी देरी किए इस मौसम में उगाई कंदरू की फसल, इस समय लगाई गई फसल किसानों को देगी अच्छी पैदावार।

किस विधि से करें खेत तैयार

कंदरू की फसल के लिए रेतीली 2 मिनट मिट्टी कारगर साबित होती है, फसल बोने से पहले किस खेत की अच्छी तरह गहरी जुताई कर ले, खेत जोतने के बाद गोबर की खाद और वार्मिंग का पोस्ट डालकर फटा चला कर उसे अच्छे से मिट्टी में  मिक्स कर दे, इसके बाद किस कर्म अनुसार कंदरू की बेल लगाएं।

इस तरीके से उगाए पौधे

कंदरू के पौधे की सबसे बड़ी बात यह है कि एक बार उगाने के बाद आप काफी लंबे समय तक  पौधे से पैदावार ले सकते हैं, समय-समय पर आवश्यकता के अनुसार सिंचाई करते रहे। कंदरू का पौधा लगाने का मानसून का यह समय बेहतर है, कंदरू में नर और मादा पौधे अलग-अलग होते हैं, किसान अच्छी पैदावार लेने के लिए 10 मादा पौधों के बीच एक नर पौधा लगाएं, किसान कंदरू की खेती के लिए 3 मीटर की दूरी पर 30×30×30 सेंटीमीटर के गड्ढे खोदकर  उनमें तीन किलो प्रति गड्ढे के हिसाब से सड़ी हुई गोबर की खाद डालें, 50 ग्राम यूरिया, 200 ग्राम सुपर फास्फेट, 100 ग्राम पोटाश  की मात्रा मिट्टी में अच्छी तरह मिलाकर भर दे। फिर इस महीने के पहले सप्ताह में 10 मीटर की ऊंचाई तक गड्ढे को भर दे। मानसून की बारिश शुरू होते ही इनमें कलम लगा दे और थोड़े दिन बाद पौध तैयार हो जाएगा।

जानिए सब्जी की खास बात

कंदरू एक ऐसी फसल है जिसकी खेती करने के लिए किस को एक बार मेहनत करनी पड़ती है, फिर किसान कई सालों तक फल लेकर अपनी मेहनत का हक  काफी मुनाफा कमा कर प्राप्त कर सकता है। कंदरू की सबसे बड़ी खास बात यह है कि एक बारिश की तुड़ाई करने के बाद 10 से 15 दिन के अंतराल इसमें दोबारा से फल आने शुरू होते हैं, डॉक्टर के मुताबिक कंदरू मैं पौष्टिक तत्व भरपूर मात्रा में पाए जाते हैं, इसमें कैल्शियम प्रोटीन विटामिन और विटामिन ए अत्यधिक मात्रा में पाया जाता है, रोजाना सेवन करने से रखता है शरीर को तंदुरुस्त, कंदरू की जड़े और पत्तियां का इस्तेमाल दवा के रूप में किया जाता है, शुगर के रोगियों के लिए कंदरू का जूस होता है फायदेमंद साबित।